• मैत्री वज्र योगिनी का मंत्र संपन्न करने के बाद अब नील वज्र योगिनी का मंत्र करना है।
    मैत्री वज्र योगिनी का मंत्र संपन्न करने के बाद अब नील वज्र योगिनी का मंत्र करना है।
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  • अगर दलित, पिछड़े इतने ही मजबूत हो गए है, कि वो ब्राह्मणो को चुनौती दे सकता है,

    इसका मतलब अब इनको आरक्षण की कोई जरूरत नही है,

    जिस मुख्य धारा से दलित समाज को जोड़ने के लिए आरक्षण दिया जा रहा था,

    अब आरक्षण का उद्देश्य पुरा हुआ,

    सरकार को तुरंत आरक्षण को खत्म करना चाहिए।

    #ScStAct #AnilMishra #SwaranAndolan #scrolllink
    🔰अगर दलित, पिछड़े इतने ही मजबूत हो गए है, कि वो ब्राह्मणो को चुनौती दे सकता है, 🔰इसका मतलब अब इनको आरक्षण की कोई जरूरत नही है, 🔰जिस मुख्य धारा से दलित समाज को जोड़ने के लिए आरक्षण दिया जा रहा था, 🔰अब आरक्षण का उद्देश्य पुरा हुआ, 🔰सरकार को तुरंत आरक्षण को खत्म करना चाहिए। #ScStAct #AnilMishra #SwaranAndolan #scrolllink
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  • #NewsLiveNow मुंबई से बिहार जा रही कर्मभूमि एक्सप्रेस में एक दर्दनाक हादसा घटित हुआ। नासिक रोड के समीप ट्रेन से तीन यात्री नीचे गिर गए, जिनमें से दो युवकों की मौके पर ही मृत्यु हो गई, जबकि तीसरा व्यक्ति गंभीर रूप से जख्मी है। अधिकारियों का कहना है कि ट्रेन में अत्यधिक भीड़ होने के चलते यह घटना हुई।


    #KarmbhumiExpress #MumbaiToBihar #TrainAccident #NashikRoad #RailwaySafety #AccidentNews


    #NewsLiveNow मुंबई से बिहार जा रही कर्मभूमि एक्सप्रेस में एक दर्दनाक हादसा घटित हुआ। नासिक रोड के समीप ट्रेन से तीन यात्री नीचे गिर गए, जिनमें से दो युवकों की मौके पर ही मृत्यु हो गई, जबकि तीसरा व्यक्ति गंभीर रूप से जख्मी है। अधिकारियों का कहना है कि ट्रेन में अत्यधिक भीड़ होने के चलते यह घटना हुई। #KarmbhumiExpress #MumbaiToBihar #TrainAccident #NashikRoad #RailwaySafety #AccidentNews
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  • "चौंसठ योगिनियाँ" — एक आध्यात्मिक दृष्टि से रहस्यमयी परिचय

    "चौंसठ योगिनियों" के सम्बन्ध में साधारण जनमानस में अनेक अवधारणाएँ प्रचलित हैं, जो प्रायः सीमित एवं अपूर्ण हैं।
    परंतु दिव्य हिमालय के सिद्धों के माध्यम से हमें इन दिव्य शक्तियों के गूढ़ आयामों की झलक प्राप्त होती है।

    योगिनियाँ मात्र देवियाँ नहीं हैं, बल्कि वे आदिशक्ति के विविध रूपों की सजीव अभिव्यक्तियाँ हैं।
    वे वह दिव्य ऊर्जा हैं जो सृष्टि, स्थिति और संहार — तीनों में व्याप्त होकर ब्रह्माण्डीय चक्र को संचालित करती हैं।

    योगिनियाँ तीन प्रमुख गुणों — सत्त्व, रज और तम — में विभक्त मानी जाती हैं।
    प्रत्येक गुण के अंतर्गत ६४-६४ योगिनियाँ आती हैं, अर्थात कुल संख्या १९२ होती है।
    ये तीनों गुण मिलकर सृष्टि के सम्पूर्ण संतुलन का निर्माण करते हैं।

    प्रत्येक योगिनी किसी न किसी तत्त्व, दिशा, ग्रह या चेतना के स्तर से सम्बद्ध होती है।
    वे केवल बाह्य रूप से ही नहीं, बल्कि साधक के अंतःकरण में भी निवास करती हैं।

    इन तीन विभागों — सत्त्व, रज और तम — से चयनित ६४ योगिनियाँ परम विशिष्ट कही जाती हैं।
    यही वे योगिनियाँ हैं जिनकी उपासना "चौंसठ योगिनी तंत्र" में वर्णित है।
    वे साक्षात् महामाया की चैतन्य शक्ति हैं — जो साधक को अज्ञान से ज्ञान, और सीमितता से अनन्तता की ओर ले जाती हैं।

    कुछ साधकों में यह भ्रम पाया जाता है कि तमोगुण की योगिनियाँ ही "६४ कृत्याएँ" हैं,
    परंतु वास्तव में "कृत्याएँ" योगिनियों का केवल एक आयाम हैं — जो शक्ति के कर्मरूप स्वरूप का प्रतिनिधित्व करती हैं।

    हिमालय के दिव्य सिद्धों के अनुसार, इस कलियुग में योगिनी शक्ति प्रत्यक्ष रूप में संपूर्ण पृथ्वी पर विद्यमान है।
    वे सृष्टि की धड़कन, चेतना की धार, और परमशक्ति की लीलामयी अभिव्यक्ति हैं।

    जो साधक इनके रहस्य को समझ लेता है, वह जान जाता है कि
    योगिनियों की उपासना किसी बाह्य देवी की नहीं, बल्कि अपने भीतर स्थित दिव्य शक्ति की साधना है।
    यह साधना भय या मोह की नहीं, बल्कि आत्मबोध की यात्रा है —
    जहाँ साधक अंततः स्वयं "योगिनी तत्त्व" में विलीन हो जाता है।

    योगिनी शक्ति के सम्बन्ध में हम भविष्य में और भी विस्तार से चर्चा करेंगे।
    फिलहाल के लिए इस विषय को यही विराम देते हैं।

    नमो आदेश।
    ॐ सम सिद्धाय नमः।
    ॐ श्री पद्मप्रिया सुरम्या रमापति ईशपुत्राय नमः।

    #Ishaputra #KaulantakPeeth #MahaHimalaya #Yogini #Sadhana #siddhi #yoga #MahasiddhaIshaputra #MahayogiSatyendranath #mystic #Meditation #Kulantpeeth
    "चौंसठ योगिनियाँ" — एक आध्यात्मिक दृष्टि से रहस्यमयी परिचय "चौंसठ योगिनियों" के सम्बन्ध में साधारण जनमानस में अनेक अवधारणाएँ प्रचलित हैं, जो प्रायः सीमित एवं अपूर्ण हैं। परंतु दिव्य हिमालय के सिद्धों के माध्यम से हमें इन दिव्य शक्तियों के गूढ़ आयामों की झलक प्राप्त होती है। योगिनियाँ मात्र देवियाँ नहीं हैं, बल्कि वे आदिशक्ति के विविध रूपों की सजीव अभिव्यक्तियाँ हैं। वे वह दिव्य ऊर्जा हैं जो सृष्टि, स्थिति और संहार — तीनों में व्याप्त होकर ब्रह्माण्डीय चक्र को संचालित करती हैं। योगिनियाँ तीन प्रमुख गुणों — सत्त्व, रज और तम — में विभक्त मानी जाती हैं। प्रत्येक गुण के अंतर्गत ६४-६४ योगिनियाँ आती हैं, अर्थात कुल संख्या १९२ होती है। ये तीनों गुण मिलकर सृष्टि के सम्पूर्ण संतुलन का निर्माण करते हैं। प्रत्येक योगिनी किसी न किसी तत्त्व, दिशा, ग्रह या चेतना के स्तर से सम्बद्ध होती है। वे केवल बाह्य रूप से ही नहीं, बल्कि साधक के अंतःकरण में भी निवास करती हैं। इन तीन विभागों — सत्त्व, रज और तम — से चयनित ६४ योगिनियाँ परम विशिष्ट कही जाती हैं। यही वे योगिनियाँ हैं जिनकी उपासना "चौंसठ योगिनी तंत्र" में वर्णित है। वे साक्षात् महामाया की चैतन्य शक्ति हैं — जो साधक को अज्ञान से ज्ञान, और सीमितता से अनन्तता की ओर ले जाती हैं। कुछ साधकों में यह भ्रम पाया जाता है कि तमोगुण की योगिनियाँ ही "६४ कृत्याएँ" हैं, परंतु वास्तव में "कृत्याएँ" योगिनियों का केवल एक आयाम हैं — जो शक्ति के कर्मरूप स्वरूप का प्रतिनिधित्व करती हैं। हिमालय के दिव्य सिद्धों के अनुसार, इस कलियुग में योगिनी शक्ति प्रत्यक्ष रूप में संपूर्ण पृथ्वी पर विद्यमान है। वे सृष्टि की धड़कन, चेतना की धार, और परमशक्ति की लीलामयी अभिव्यक्ति हैं। जो साधक इनके रहस्य को समझ लेता है, वह जान जाता है कि योगिनियों की उपासना किसी बाह्य देवी की नहीं, बल्कि अपने भीतर स्थित दिव्य शक्ति की साधना है। यह साधना भय या मोह की नहीं, बल्कि आत्मबोध की यात्रा है — जहाँ साधक अंततः स्वयं "योगिनी तत्त्व" में विलीन हो जाता है। योगिनी शक्ति के सम्बन्ध में हम भविष्य में और भी विस्तार से चर्चा करेंगे। फिलहाल के लिए इस विषय को यही विराम देते हैं। नमो आदेश। ॐ सम सिद्धाय नमः। ॐ श्री पद्मप्रिया सुरम्या रमापति ईशपुत्राय नमः। #Ishaputra #KaulantakPeeth #MahaHimalaya #Yogini #Sadhana #siddhi #yoga #MahasiddhaIshaputra #MahayogiSatyendranath #mystic #Meditation #Kulantpeeth
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  • आरक्षण नहीं, ये 'राजा का मुकुट' है!
    पीढ़ी दर पीढ़ी 'दलित का दलित' बने रहने की ये कैसी मजबूरी?

    आरक्षण अब राजाशाही विरासत बन चुका है। पहले बाप पहनेगा, फिर बेटा, फिर नाती! और ये सिलसिला चलता रहेगा... लेकिन सवाल ये है कि इतने सालों बाद भी 'दलित का दलित' ही क्यों रहना पड़ रहा है? क्या आरक्षण गरीबी मिटाने के बजाय सिर्फ एक परिवार की जागीर बन गया है?

    यह व्यवस्था योग्यता और प्रतिभा का गला घोंट रही है। अब वक्त है, जाति नहीं, बल्कि आर्थिक आधार पर समर्थन देने का!

    क्या आप भी आरक्षण मुक्त भारत चाहते हैं? जहां हर भारतीय को केवल उसकी मेहनत और काबिलियत से पहचान मिले?

    कमेंट में बताएं: क्या यह 'आरक्षण का मुकुट' उतरना चाहिए?

    #ReservationMustEnd #आरक्षणमुक्तभारत #जातिवाद_बंद_करो #MeritMatters #StopCastePolitics #PoliticalGyan #scrolllink
    👑 आरक्षण नहीं, ये 'राजा का मुकुट' है! 😡 पीढ़ी दर पीढ़ी 'दलित का दलित' बने रहने की ये कैसी मजबूरी? आरक्षण अब राजाशाही विरासत बन चुका है। पहले बाप पहनेगा, फिर बेटा, फिर नाती! और ये सिलसिला चलता रहेगा... लेकिन सवाल ये है कि इतने सालों बाद भी 'दलित का दलित' ही क्यों रहना पड़ रहा है? क्या आरक्षण गरीबी मिटाने के बजाय सिर्फ एक परिवार की जागीर बन गया है? यह व्यवस्था योग्यता और प्रतिभा का गला घोंट रही है। अब वक्त है, जाति नहीं, बल्कि आर्थिक आधार पर समर्थन देने का! क्या आप भी आरक्षण मुक्त भारत चाहते हैं? जहां हर भारतीय को केवल उसकी मेहनत और काबिलियत से पहचान मिले? कमेंट में बताएं: क्या यह 'आरक्षण का मुकुट' उतरना चाहिए? #ReservationMustEnd #आरक्षणमुक्तभारत #जातिवाद_बंद_करो #MeritMatters #StopCastePolitics #PoliticalGyan #scrolllink
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  • अष्टलक्ष्मी का अर्थ है देवी लक्ष्मी के आठ विशेष स्वरूप। इन आठ रूपों की पूजा विभिन्न प्रकार की समृद्धि और कल्याण के लिए की जाती है।
    ये आठ लक्ष्मी हैं:

    #ashtaLaxmi #diwali #scrolllink
    अष्टलक्ष्मी का अर्थ है देवी लक्ष्मी के आठ विशेष स्वरूप। इन आठ रूपों की पूजा विभिन्न प्रकार की समृद्धि और कल्याण के लिए की जाती है। ये आठ लक्ष्मी हैं:🧵 #ashtaLaxmi #diwali #scrolllink
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  • #NewsLiveNow मध्य दिल्ली के नबी करीम क्षेत्र में शनिवार रात एक प्रेम विवाद ने खौफनाक मोड़ ले लिया। एक गर्भवती महिला, उसके पति और पूर्व प्रेमी के बीच शुरू हुई कहासुनी कुछ ही मिनटों में खूनी संघर्ष में बदल गई। इस दिल दहला देने वाली वारदात में दो लोगों की जान चली गई, जबकि एक व्यक्ति गंभीर रूप से घायल है।

    #newsinhindi #MurderCase #DelhiPolice #CrimeNews
    #NewsLiveNow मध्य दिल्ली के नबी करीम क्षेत्र में शनिवार रात एक प्रेम विवाद ने खौफनाक मोड़ ले लिया। एक गर्भवती महिला, उसके पति और पूर्व प्रेमी के बीच शुरू हुई कहासुनी कुछ ही मिनटों में खूनी संघर्ष में बदल गई। इस दिल दहला देने वाली वारदात में दो लोगों की जान चली गई, जबकि एक व्यक्ति गंभीर रूप से घायल है। #newsinhindi #MurderCase #DelhiPolice #CrimeNews
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    एक महिला, 2 पुरुष और खून से सनी मोहब्बत की जंग, प्यार के तिकोन ने ली 2 जिंदगियों की बलि, सड़क बनी कत्लगाह
    (न्यूज़लाइवनाउ-Delhi) मध्य दिल्ली के नबी करीम क्षेत्र में शनिवार रात एक प्रेम विवाद ने खौफनाक मोड़ ले लिया। एक गर्भवती महिला, उसके पति और पूर्व प्रेमी के बीच
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  • शुभ छोटी दीपावली (19 अक्टूबर 2025 )

    आज रूप चौदस, नरक चतुर्दशी, छोटी दीपावली और काली चौदस है...

    *पूजा से भरी थाली है*
    *चारों ओर खुशहाली है*
    *आओ मिलके मनाएं ये पर्व*
    *आज छोटी दिवाली ( रूपचौदस ) है।*
    गजाननं भूत गणादि सेवितं कपित्थ जंवू फल चारू भक्षणम्
    उमासुतं शोक विनाशकारकम् नमामि बिघनेश्वर पाद पंकजं

    सर्वविघ्नहरं देवं सर्वविघ्नविवर्जितम्।
    सर्वसिद्धिप्रदातारं वन्देऽहं गणनायकम्।

    रूप चौदस की शुभ तिथी।
    पंचांग के अनुसार रूप चतुर्दशी का पावन पर्व हर साल कार्तिक मास के कृष्णपक्ष की चतुर्दशी तिथि को मनाया जाता है. इस साल यह पावन तिथि 19 अक्टूबर 2025 को दोपहर 01:51 बजे प्रारंभ होकर 20 अक्टूबर 2025 को दोपहर 03:44 बजे तक रहेगी.

    कार्तिक मास की कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि यानी कि *नरक चतुर्दशी 19 अक्टूबर दोपहर 1:51 पर शुरू हो जाएगी और इसका समापन 20 अक्टूबर को दोपहर 3:44 पर होगा.* मान्यताओं के अनुसार, छोटी दिवाली का त्योहार संध्या काल में मनाया जाता है, इसलिए यह पर्व 19 अक्टूबर दिन रविवार को मनाया जाएगा।

    नरक चतुर्दशी को रूप चौदस के नाम से भी जाना जाता है और छोटी दिवाली भी कहते हैं, इस दिन भगवान विष्णु के अवतार श्रीकृष्ण ने 'नरकासुर' नामक राक्षस का वध किया था। श्रीकृष्ण ने नरकासुर के बंदी गृह में कैद 16 हजार से ज्यादा महिलाओं को आजाद कराया था। तब से छोटी दिवाली को नरक चतुर्दशी के तौर पर मनाया जाता है।
    प्रथम पूज्य गौरीनंदन श्री गणेश जी की असीम कृपा आप और आपके परिवार पर सदैव बनी रहे,आप सभी का दिन शुभ और मङ्गलमय हो!

    दोस्तों आप व आपके सपरिवार को *छोटी दीपावली, रूपचौदस* की हार्दिक बधाई एवं अनन्त शुभकामनाएं।
    आपका जीवन मंगलमय हो। जय श्री राधे कृष्ण।

    ॐ श्री गणेशाय नमः 🙏🏻
    🙏🏻 ॐ श्री महा लक्ष्मी नमः 🙏🏻

    #narakchadurdashi #diwali #scrolllink #narakasur
    🪔शुभ छोटी दीपावली (19 अक्टूबर 2025 ) 🪔 आज रूप चौदस, नरक चतुर्दशी, छोटी दीपावली और काली चौदस है... 🪔 *पूजा से भरी थाली है* 🪔 *चारों ओर खुशहाली है* 🪔 *आओ मिलके मनाएं ये पर्व* 🪔 *आज छोटी दिवाली ( रूपचौदस ) है।* गजाननं भूत गणादि सेवितं कपित्थ जंवू फल चारू भक्षणम् उमासुतं शोक विनाशकारकम् नमामि बिघनेश्वर पाद पंकजं सर्वविघ्नहरं देवं सर्वविघ्नविवर्जितम्। सर्वसिद्धिप्रदातारं वन्देऽहं गणनायकम्। रूप चौदस की शुभ तिथी। पंचांग के अनुसार रूप चतुर्दशी का पावन पर्व हर साल कार्तिक मास के कृष्णपक्ष की चतुर्दशी तिथि को मनाया जाता है. इस साल यह पावन तिथि 19 अक्टूबर 2025 को दोपहर 01:51 बजे प्रारंभ होकर 20 अक्टूबर 2025 को दोपहर 03:44 बजे तक रहेगी. कार्तिक मास की कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि यानी कि *नरक चतुर्दशी 19 अक्टूबर दोपहर 1:51 पर शुरू हो जाएगी और इसका समापन 20 अक्टूबर को दोपहर 3:44 पर होगा.* मान्यताओं के अनुसार, छोटी दिवाली का त्योहार संध्या काल में मनाया जाता है, इसलिए यह पर्व 19 अक्टूबर दिन रविवार को मनाया जाएगा। नरक चतुर्दशी को रूप चौदस के नाम से भी जाना जाता है और छोटी दिवाली भी कहते हैं, इस दिन भगवान विष्णु के अवतार श्रीकृष्ण ने 'नरकासुर' नामक राक्षस का वध किया था। श्रीकृष्ण ने नरकासुर के बंदी गृह में कैद 16 हजार से ज्यादा महिलाओं को आजाद कराया था। तब से छोटी दिवाली को नरक चतुर्दशी के तौर पर मनाया जाता है। प्रथम पूज्य गौरीनंदन श्री गणेश जी की असीम कृपा आप और आपके परिवार पर सदैव बनी रहे,आप सभी का दिन शुभ और मङ्गलमय हो! दोस्तों आप व आपके सपरिवार को *छोटी दीपावली, रूपचौदस* की हार्दिक बधाई एवं अनन्त शुभकामनाएं। आपका जीवन मंगलमय हो। जय श्री राधे कृष्ण। 🪔 ॐ श्री गणेशाय नमः 🙏🏻🪔 🙏🏻👣 ॐ श्री महा लक्ष्मी नमः 👣🙏🏻 #narakchadurdashi #diwali #scrolllink #narakasur
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  • आप सभी को नरक चतुर्दशी रुप चौदस व छोटी दीपावली की हार्दिक शुभकामनाएं ।

    यह पर्व आपके जीवन में सुख समृद्धि और आनंद लेकर आए।।

    #diwali #dipawali #narkchaturdashi #scrolllink
    आप सभी को नरक चतुर्दशी रुप चौदस व छोटी दीपावली की हार्दिक शुभकामनाएं ।❣️💫 यह पर्व आपके जीवन में सुख समृद्धि और आनंद लेकर आए।।🙏 #diwali #dipawali #narkchaturdashi #scrolllink
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  • जननी, मैं रामदूत हनुमान…!

    #hanuman #seeta #ram #scrolllink
    जननी, मैं रामदूत हनुमान…! 🔥❣️🙏 #hanuman #seeta #ram #scrolllink
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  • जय सूर्य देव
    'ॐ ऐहि सूर्य सहस्त्रांशों तेजो राशे जगत्पते, अनुकंपयेमां भक्त्या, गृहाणार्घय दिवाकर:':

    यह मंत्र भी मनवांछित फल प्राप्त करने के लिए पढ़ा जाता है।
    !! जय श्री सूर्यदेव !!

    #SuryaNarayan #shubhprabhat #scrolllink #hindu
    🙏 जय सूर्य देव 🙏 'ॐ ऐहि सूर्य सहस्त्रांशों तेजो राशे जगत्पते, अनुकंपयेमां भक्त्या, गृहाणार्घय दिवाकर:': यह मंत्र भी मनवांछित फल प्राप्त करने के लिए पढ़ा जाता है। !! जय श्री सूर्यदेव !! #SuryaNarayan #shubhprabhat #scrolllink #hindu
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  • जय सूर्य नारायण देव!

    सूर्य देव — प्रकाश, ऊर्जा और जीवन के स्रोत।
    जो अंधकार मिटाकर सदा सत्य के मार्ग को प्रकाशित करते हैं।
    उनकी किरणों से ही सृष्टि में जीवन की लय बनी रहती है।

    इस पवित्र प्रभा से हम सबके जीवन में उजाला,
    स्वास्थ्य, शक्ति और सफलता का संचार हो।

    ॐ घृणिः सूर्याय नमः।

    #sury #morning #shubhPrabhat #scrolllink
    🌞 जय सूर्य नारायण देव! 🌞 सूर्य देव — प्रकाश, ऊर्जा और जीवन के स्रोत। जो अंधकार मिटाकर सदा सत्य के मार्ग को प्रकाशित करते हैं। उनकी किरणों से ही सृष्टि में जीवन की लय बनी रहती है।🙏 🙏 इस पवित्र प्रभा से हम सबके जीवन में उजाला, स्वास्थ्य, शक्ति और सफलता का संचार हो। 🌻 ॐ घृणिः सूर्याय नमः।🙏🚩 #sury #morning #shubhPrabhat #scrolllink
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